त्यूणी वन विभाग के द्वारा वन महोत्सव सप्ताह 01 जुलाई से 07 जुलाई तक उत्सव मनाया जा रहा है जिसके तहत विभिन्न स्थानों पर पेड़ पौधे लगाकर लोगों को जागरूक किया जा रहा है , देवघार रेंज के रेंज अधिकारी हरीश चौहान बताते हैं, हम पेड़ों के उत्सव ” वन महोत्सव ” के बहुत आभारी हैं , जो पर्यावरण की रक्षा के लिए एक प्यारा प्रयास है। स्थानीय पेड़ आमतौर पर इसलिए लगाए जाते हैं क्योंकि वे स्थानीय परिस्थितियों के अनुकूल आसानी से ढल जाते हैं, पारिस्थितिकी तंत्र में घुलमिल जाते हैं और उनके जीवित रहने की दर बहुत अधिक होती है। इसके अतिरिक्त, ये पेड़ पक्षियों, कीड़ों और जानवरों सहित स्थानीय जीवों का समर्थन करते हैं। इस पहल के तहत स्कूल, विश्वविद्यालय और अन्य शैक्षणिक संस्थान, गैर सरकारी संगठन और कल्याणकारी संगठन राज्य सरकारों और नागरिक संगठनों द्वारा उपलब्ध कराए गए पौधों की मदद से पेड़ लगा सकते हैं। यह मामूली योगदान देकर ग्रह को बचाने की एक पहल है।
वन विभाग गर्मी के मौसम के दौरान वनों में आग की घटनाओं को रोकने के लिए सक्रिय हो गया है। जंगलों को आग की घटनाओं से बचाने के लिए वन विभाग आम लोगों को जागरूक कर रहा है।
बुधवार को देवधार वन विभाग के रेंज अधिकारी हरीश चौहान ने वनों को आग से बचाने को लेकर ग्रामीणों से आगे बढ़कर सहयोग करने का आह्वान किया। साथ ही हरीश चौहान के नेतृत्व में आश्रम पद्धति स्कूल रगुवाड, तहसील कार्यालय त्यूणी, चांदनी तपड़, आदि कई स्थान में पौधे लगाए गए साथ ही स्थानीय लोगों को शपथ दिलाई गई कि आप इस पौधे की देख रख अपने बच्चों की तरह करेंगे, उन्होंने कहा कि मनुष्य व पर्यावरण दोनों में परस्पर संबंध है। उन्हें अलग करना कठिन है। जिस दिन पर्यावरण का अस्तित्व मिट गया, उस दिन मानव जाति का अस्तित्व ही मिट जाएगा। उन्होंने बताया कि पर्यावरण को बचाने के लिए प्रशासन द्वारा कई अहम कदम उठाए गए हैं। जंगलों को आग की घटनाओं से बचाने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए जा रहे हैं। उन्होंने आम लोगों से अपील करते हुए कहा कि पर्यावरण को बचाने के लिए प्रशासन और वन विभाग का पूरा सहयोग करें। हरीश चौहान ने कहा कि पेड़-पौधे ही पर्यावरण के रक्षक होने के साथ उनको स्वच्छ भी बनाते हैं। इसके बिना कोई भी अपने जीवन की परिकल्पना नहीं कर सकता है। इसलिए लोगों को पेड़-पौधों को लगाने के लिए आगे आना चाहिए। वर्तमान में लोग अपने भौतिक सुख-सुविधाओं के लिए जंगल काटकर इस धरती को पेड़ विहीन बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि लोगों का कर्तव्य है कि वे अपने जीवन में कम से कम पांच पौधे जरूर लगाएं और जब तक वे पौधे बड़े नहीं होते, तब तक उनकी पूरी देखभाल करें। साथ ही लगाए गए पौधों की तब तक सुरक्षा करें जब तक वे बड़े नहीं हो जाते हैं। यह सब काम समाज को जागरूक किए बगैर नहीं हो सकता है। उन्होंने अपील करते हुए कहा कि जंगल में आग लगने की किसी भी घटना की सूचना तुरंत वन विभाग को दें, जिससे समय रहते आग पर काबू पाया जा सके।